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Faridabad NCR

फ़िल्मों के माध्यम से सकारात्मकता दर्शकों तक पहुँचने की आवश्यकता: हरिओम

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Faridabad Hindustan ab tak/Dinesh Bhardwaj : 09 दिसम्बर। जे. सी. बोस विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय वाईएमसीए फरीदाबाद के संचार एवं मीडिया तकनीक विभाग द्वारा ‘लेट्स मेक ए फ़िल्म’ विषय पर कार्यशाला का आयोजन किया।
संचार एवं मीडिया तकनीकी विभाग के विभागाध्यक्ष डॉ. पवन सिंह ने बताया कि इस फ़िल्म निर्माण कार्यशाला में फ़िल्म निर्देशक, अभिनेता तथा फ़िल्म सेंसर बोर्ड के सदस्य हरिओम कौशिक ने विशेषज्ञ के रूप में मीडिया विभाग के छात्रों से रूबरू हुए।
छात्रों ने फ़िल्म निर्माण पर चर्चा करते हुए हरिओम कौशिक ने कहा कि फ़िल्मों का उद्देश्य समाज को जोड़ना और समाज में प्रेम-सौहार्द बढ़ाना होता है। लेकिन, दुर्भाग्य से भारत में पिछले कई दशकों से ऐसी फिल्में बन रही है जो तथाकथित सच्चाई दिखाने के नाम पर नकारात्मकता का प्रसार कर रही है एवं समाज में कटुता, विद्वेष, घृणा, लोभ एवं ईर्ष्या आदि के भाव का महिमामंडन कर रही है। ऐसे में यह अत्यंत आवश्यक हो गया है कि सिनेमा के माध्यम से देश और समाज हित में सही विमर्श जन-जन तक पहुँचे। उन्होंने छात्रों को शब्दों को जोड़कर एक सकारात्मक कहानी के लेखन पर अभ्यास करवाया। कार्यशाला में उन्होंने थ्री शॉट तथा टेन शॉट एक्सरसाइज भी छात्रों की करवायी।
हरिओम ने आगे बताया कि कैसे क्षेत्रीय सिनेमा कहानी के आधार पर बॉलीवुड को चैलेंज कर रहा। अब लोग फ़िल्मों में नयी कहानी का नया तरीक़ा ढूँढते है।
इस अवसर पर फैकल्टी ऑफ लिबरल आर्ट्स एंड मीडिया स्टडीज़ के डीन डॉ.  अतुल मिश्रा, विश्वविद्यालय के पूर्व छात्र राज भाटिया तथा मीडिया विभाग के प्राध्यापक उपस्थित रहे।
हरियाणा फ़िल्म महोत्सव के पोस्टर का हुआ विमोचन
इस कार्यशाला में जे. सी. बोस विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय के कुलसचिव एस. के. गर्ग, फ़िल्म सेंसर बोर्ड के सदस्य हरिओम कौशिक, फैकल्टी ऑफ लिबरल आर्ट्स एंड मीडिया स्टडीज़ के डीन डॉ.  अतुल मिश्रा, मीडिया विभागाध्यक्ष डॉ पवन सिंह विश्वविद्यालय के पूर्व छात्र राज भाटिया तथा मीडिया विभाग के प्राध्यापकों ने फ़रवरी 2023  में होने वाले हरियाणा फ़िल्म महोत्सव के पोस्टर का विमोचन किया।
इस अवसर पर कुलसचिव एस. के. गर्ग ने कहा कि यह देखकर प्रसन्नता हो रही है कि फिल्म निर्माण आज केवल मुंबई तक ही सीमित नहीं है और हरियाणा फिल्म फेस्टिवल जैसी पहल न केवल हरियाणा के युवाओं को सशक्त बनाती है बल्कि राष्ट्र की ओर एक शानदार कदम है। ऐसे फ़िल्म महोत्सव में युवा फ़िल्मकारों को बढ़चढ़ कर भाग लेना चाहिए। उन्होंने हरियाणा फिल्म फेस्टिवल के आयोजकों को इस महोत्सव के आयोजन के लिए शुभकामनाएँ तथा बधाई दी।

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