Faridabad Hindustan ab tak/Dinesh Bhardwaj : 15 अगस्त स्वतंत्रता दिवस की रात करीब 11 बजे पुलिस आकस्मिक सेवा के लिए डॉयल 112 पर किसी ने सूचना दी कि बखरी गाँव में मानसिक दिव्यांग एक महिला सड़क पर लावारिस अवस्था में घूम रही है।
सूचना प्राप्त होने के साथ तत्परता दिखाते हुए ड्यूटी पर तैनात पुलिसकर्मी एएसआई विद्यानंद अपने सिपाही सुनील के साथ उस स्थान पर पहुँचे।
पुलिस मौके पर पहुंची तो पाया कि एक महिला पीले रंग सूट तथा पैरों में हवाई चप्पल पहने हुए थी। 28-30 वर्षीय उस दुबली सी महिला के साथ कोई भी व्यक्ति नहीं था।
पुलिस ने उस महिला से सहानूभतिपूर्वक बातचीत शुरू की। बातचीत में उस महिला ने पुलिस को अपना और अपने पति का नाम बताया। साथ ही महिला ने अपना घर झारखंड बताने के साथ खाना खाने की इच्छा जताई जिसपर पुलिस टीम ने उसे खाना खिलाया।
पुलिस ने उस महिला के परिजनों बारे में पता लगाने की बहुत कोशिश की परन्तु पूरे प्रयास के बावजूद उसके बारे में कुछ पता नहीं चलने पर पुलिस ने उसे नारी सुरक्षा गृह पहुँचाने का निश्चय किया। सुबह उसका कोरोना टेस्ट कराया। इसके बाद पुलिस उक्त महिला को गुरूग्राम के बंदवाड़ी स्थित दी अर्थ सेवियर्स फाउंडेशन ले गई। पुलिस ने लावारिस महिला को नारी सुरक्षा के तौर पर संचालित इस गैर-सरकारी संगठन में कार्यकर्ता रीना मेहरा को सौंप दिया।
पुलिस ने अपने स्तर से सभी पुलिस ईकाई को इस महिला संबंधी कोई सूचना प्राप्त होने पर डबुआ थाना अथवा पाली पुलिस चौकी से संपर्क करने की सूचना दी। दी अर्थ सेवियर्स फाउंडेशन की तरफ से पुलिस टीम द्वारा किए गए सराहनीय कार्य के लिए उनका धन्यवाद किया।