Faridabad Hindustan ab tak/Dinesh Bhardwaj : 7 जून। बदलती जीवनशैली और अनियमित खानपान के कारण लोग तेजी से ब्रेन ट्यूमर का शिकार हो रहे है। यह कहना है ग्रेटर फरीदाबाद स्थित एकॉर्ड अस्पताल के न्यूरोलॉजी डिपार्टमेंट के चेयरमैन डॉ. रोहित गुप्ता का। उन्होंने कहा कि ब्रेन ट्यूमर के प्रति लोगों को जागरूक करने के लिए प्रत्येक साल आठ जून को ब्रेन ट्यूमर दिवस मनाया जाता है।
वरिष्ठ न्यूरोलॉजिस्ट डॉ. रोहित गुप्ता ने बताया कि आज के समय में अनियमित दिनचर्या, एवं खानपान के कारण लोग तेजी से किडनी, फेफड़े, हृदय रोग, कैंसर आदि रोगों का शिकार हो जाते हैं इन्हीं में से एक है ब्रेन ट्यूमर।
ब्रेन ट्यूमर, एक बेहद खतरनाक और जानलेवा समस्या है, जिसके कारण हर साल दुनियाभर में लाखों लोगों की मौत हो जाती है। फरीदाबाद में इसके अनेक मरीज है। ओपीडी में हर माह 10 से 15 मरीज इलाज के लिए आते हैं। उन्होंने कहा कि ब्रेन ट्यूमर, मस्तिष्क या उसके आसपास की कोशिकाओं में होने वाली अनियंत्रित वृद्धि की समस्या है। जरूरी नहीं है कि हर ब्रेन ट्यूमर कैंसर कारक ही हो, कुछ नॉनकैंसरस भी हो सकते हैं। हालांकि जब ट्यूमर बढ़ने लगता है तो ये आपकी खोपड़ी के अंदर दबाव बढ़ा सकता है। इससे ब्रेन डैमेज का खतरा रहा है, जिसके कारण मृत्यु का भी जोखिम हो सकता है। इसलिए इससे बचाव जरूरी है।
ब्रेन ट्यूमर के कई कारण
डॉ. रोहित ने कहा कि ब्रेन ट्यूमर होने का कारण कई हो सकते है। जब ग्रंथि कई तरह के रासायनिक तत्व उत्पन्न करती है तो उसमें ट्यूमर होने पर कई तरह की समस्याएं होने लगती हैं। मस्तिष्क में कोशिकाओं के असामान्य रूप से बढ़ने पर जो गांठ बन जाती है उसे ही ब्रेन ट्यूमर कहते हैं। इसमें मस्तिष्क के खास हिस्से में कोशिकाओं का गुच्छा बन जाता है। यह कई बार कैंसर की गांठ में तब्दील हो जाता है, इसलिए ब्रेन ट्यूमर को कभी भी हल्के में नहीं लेना चाहिए। ऐसे में अगर आपको कोई भी लक्षण दिखें तो डाक्टर से परामर्श जरूर लें।
ब्रेन ट्यूमर के शुरुआती लक्षण-
सिर के अलग-अलग हिस्से में एक पैटर्न में दर्द होना।
-धीरे-धीरे यह दर्द लंबे समय तक और तेज उठता है।
-शरीर में बिना किसी कारण के कंपन होना।
-किसी अंग में सुन्नपन होना
-बिना किसी कारण उल्टी होना, जी मिचलाना
-बोलने और सुनने में परेशानी होना
-ब्रेन ट्यूमर होने पर मांसपेशियों में ऐंठन महसूस होती है
– बेहोशी भी इसका एक लक्षण हो सकती है
– आंखों से धुंधला दिखाई देना, बोलने में परेशानी होना,
– चलते-चलते अचानक लड़खड़ाना, अधिक थकान होना