Faridabad NCR
कांग्रेस नेता विजय प्रताप ने धरना स्थल पर पहुंच कर लोगों की मांगों का सर्मथन किया
Faridabad Hindustanabtak.com/Dinesh Bhardwaj : पिछले कई दिनों से रास्तों व मूलभूत सुविधाओं से वंचित बडख़ल गांव के बांशिदें झीलचौक पर अनिश्चितकालीन धरने पर बैठे हुए हैं। इस धरने का समर्थन करने के लिए बडख़ल विधानसभा क्षेत्र से कांग्रेस की टिकट पर चुनाव लड़ चुके कांग्रेस नेता विजय प्रताप सिंह धरना स्थल पर पहुंचे और उनकी मांगों का सर्मथन किया। विजय प्रताप सिंह ने कहा कि विकास कार्यों में 9 साल बेमिसाल का दावा करने वाली भाजपा सरकार से कांग्रेस के समय में हुए विकास कार्यों की आज रिपेयर तक नहीं हो पा रही जबकि फरीदाबाद नगर निगम का बजट दो हजार करोड़ का हो गया है लेकिन फरीदाबाद आज अपनी दुर्दशा पर आंसू बहा रहा है। कांग्रेस के समय में बडख़ल गांव में 20 पेयजल के लिए टयूबवैल लगवाए गए थे ,टाइलों के रोड़ बनवाए गए लेकिन भाजपा सरकार ने बडख़ल गांव को खोद कर पटक दिया है। ऐसा पहली बार हो रहा है कि गांव लोग मूलभूत सुविधाओं को लेकर धरने पर बैठे हैं। उन्होंने कहा कि भाजपा के पास मात्र एक साल बचा है उसके बाद कांग्रेस शासन में बडख़ल गांव की पुन: कायाकल्प की जाएगी। गंदे पानी की निकासी की समूचित व्यवस्था की जाएगी। गांव की सडक़ों को सीमेंटिड किया जाएगा। उन्होंने कहा कि फरीदाबाद नगर निगम में 200-200 करोड़ के घोटाले हुए पड़े है परंतु आज तक उनकी जांच अधर में लटकी हुई है और जब लगा कि इस घोटाले में बड़ी मछलियां फंसेंगी तो भ्रष्टाचार के सभी दस्तावेज आग लगवाकर नष्ट करवा दिए गए। उन्होंने कहा कि अकेले बडख़ल गांव नहीं गांव भांकरी, अनखीर, एसजीएम नगर, आदर्श कालोनी एन एच चार, कालोनियां हो या ग्रामीण अंचल सबका बुरा हाल है। उन्होंने कहा कि पूर्व मंत्री चौधरी महेन्द्र प्रताप ने अपने समय में पूरे मेवला महाराजपुर विधानसभा की कायाकल्प की थी ये ही नहीं मंत्री रहते हुए चौधरी महेन्द्र प्रताप सिंह ने बडख़ल विधानसभा में 800 करोड़ से ज्यादा के विकास कार्य करवाए। इस दौरान उनके समक्ष धरनारत महिलाओं ने केन्द्रीय राज्यमंत्री कृष्णपाल गुर्जर एवं विधायक सीमा त्रिखा पर जमकर भड़ास निकाली। उन्होंने कहा कि चुनाव जीतने के बाद आज तक कोई बडख़ल गांव में देखने तक नहीं आया कि लोग कैसे जी रहे हैं। आज छोटे छोटे घर से बाहर नहीं निकल सकते। गांव की गलियों में घुटनों घुटनों पानी खड़ा हुआ है। लोगों का जीन दुश्वार हो गया है।