Faridabad NCR
हिमाचल के मनोज कुमार सेना से रिटायर होकर, खाद्य उत्पाद बेचकर व्यवसायी जीवन बिता रहे
Faridabad Hindustan ab tak/Dinesh Bhardwaj : 6 फरवरी। हिमाचल के उना जिला स्थित कोटला कलां गांव के रहने वाले मनोज कुमार सेना से रिटायर होकर अब जैविक खाद्य उत्पाद बेचकर सफल व्यवसायी जीवन बिता रहे हैं। बड़ी चौपाल के बाएं द्वार के ठीक सामने स्टाल लगाका बैठे मनोज कुमार ने बताया कि बचपन से ही उनका सपना फौज में भर्ती होने का था। उनका जन्म 17 जून, 1972 को हुआ था। बीएड तक शिक्षा प्राप्त मनोज कुमार सेना में भर्ती होने के लिए अपने घर से रांची भाग गए थे। वहां 1992 में वह रामगढ़ सेना भर्ती रैली में भाग लेकर सिपाही के पद पर नियुक्त हुए। भारतीय सेना में 19 साल तक सेवा की। इस दौरान जम्मू कश्मीर, असम, पंजाब, हिमाचल, पं. बंगाल में उनकी पोस्टिंंग रही और सेना के कई बड़े खुफिया ऑपरेशनों में उन्होंने भाग लिया। मनोज अपने साथ हिमाचल की आर्गेनिक हल्दी, काला जीरा, खुमानी, अखरोट, बादाम, अंजीर, आलूबुखारा, शहद आदि लेकर आए हैं। मनोज ने बताया कि उसने नाबार्ड की सहायता से वर्ष 2011 मेंं मां कामाख्या स्वयं सहायता समूह बनाया और इससे दस महिलाएं भी जुड़ी हुई हैंं। समूह को इंडियन बैंक ने दो लाख की आर्थिक सहायता प्रदान की थी। उसके बाद कभी उन्होंने पीछे मुडक़र नहीं देखा।