Faridabad NCR
धूम्रपान करने वाली गर्भवती महिलाओं में शुरू के तीन महीनों में बार-बार गर्भपात होने का खतरा : डॉ. विद्या नायर
Faridabad Hindustanabtak.com/Dinesh Bhardwaj : तंबाकू के सेवन से होने वाले नुकसान के प्रति लोगों को जागरूक करने के लिए हर साल 31 मई को दुनियाभर में “विश्व तंबाकू निषेध दिवस” मनाया जाता है। इस संबंध में जानकारी देते हुए मैरिंगो एशिया हॉस्पिटल्स से पल्मोनोलॉजी विभाग की सीनियर कंसल्टेंट एवं एचओडी डॉ. विद्या नायर ने बताया कि सिगरेट, बीड़ी, गुटका और हुक्का तंबाकू का ही एक प्रकार है जिनके सेवन से शरीर को अलग-अलग तरह से नुकसान पहुँचता है। तंबाकू को गुटका या पान मसाला के रूप में चबाकर खाने से मुंह और गले का कैंसर होता है, वहीँ तंबाकू का बीड़ी, हुक्का या सिगरेट के जरिये सेवन करने से फेफड़ों का कैंसर, अस्थमा, साँस फूलने की परेशानी व अन्य साँस से जुडी समस्याएँ, लिवर कैंसर, कोलन कैंसर, इरेक्टाइल डिसफंक्शन (नपुसंकता), हृदय रोग की समस्या, स्ट्रोक, आँखों की रोशनी में कमी आना, दांतों का कमजोर पड़ना व समय से पहले से गिरना और गंभीर गैंग्रीन होने का जोखिम बढ़ जाता है। जो महिलाएं तंबाकू का सेवन करती हैं उन्हें गर्भाशय ग्रीवा का कैंसर यानी सर्वाइकल कैंसर, स्तन कैंसर, गर्भधारण की समस्या, एक्टोपिक प्रेग्नेंसी का खतरा, प्रीमेच्योर मेनोपॉज (महिलाओं में समय से पहले पीरियड्स या मासिक धर्म का बंद हो जाना), टाइप-2 डायबिटीज और आंतों से जुडी समस्याएँ हो सकती हैं। धूम्रपान करने वाली गर्भवती महिलाओं में शुरू के तीन महीनों में बार-बार गर्भपात होने का खतरा, गर्भनाल की पोजीशन नीचे रह जाना, समय से पहले पानी की थैली फटने व प्रसव होने का खतरा ज्यादा होने जैसी कई समस्याएँ आ सकती हैं। ऐसी महिलाओं के पैदा होने वाले बच्चों में कटा होंठ व तालु की समस्या, जन्म के समय बच्चे का वजन कम होना आदि की परेशानी हो सकती है। धूम्रपान करने वाली महिलाओं के बच्चों को बचपन में अस्थमा, मोटापा, अटेंशन डेफिसिट हाइपरएक्टिविटी डिस्ऑर्डर मतलब ध्यान की कमी और अत्यधिक सक्रियता की बीमारी जैसी मानसिक समस्याएं भी हो सकती हैं। स्मोकिंग करने वाली माँ के अन्दर अपने बच्चे को स्तनपान कराने के लिए दूध भी कम मात्रा में बनता है। वहीँ धूम्रपान करने से पुरुषों की स्पर्म क्वालिटी, संख्या व फंक्शन में भी कमी आ जाती है।
सलाह:
· तंबाकू का सेवन धीरे-धीरे कम करने की कोशिश करें
· तंबाकू की तलब लगने पर मुंह में चेविंग गम, टॉफी जैसी चीज डाल सकते हैं
· तंबाकू छोड़ने के लिए निकोटिन थेरेपी मददगार साबित हो सकती है
· साथियों के दबाव में आकर तंबाकू के सेवन से बचें
· तंबाकू का सेवन करने वाले दोस्तों, सहकर्मियों से दूर रहें।
· अगर काफी कोशिश के बावजूद तंबाकू नहीं छोड़ पा रहे हैं तो आप धूम्रपान छुड़ाने वाले क्लिनिक में छाती एवं श्वास रोग विशेषज्ञ और साइकोलोजिस्ट दोनों की सलाह ले सकते हैं
· जो दंपत्ति अपना परिवार आगे बढ़ाने चाहते हैं वे गर्भधारण करने से पहले ही धूम्रपान छोडने का प्रयास करें